Friday, May 17 2024

मुजफ्फरपुर के सिविल सर्जन और बोचहां के चिकित्सा प्रभारी आमने-सामने

FIRSTLOOK BIHAR 08:52 AM बिहार

दोनों में ठनी, एक दूसरे पर असंसदीय भाषा का अपयोग करने का लगाया आरोप

मुजफ्फरपुर के सिविल सर्जन विनय कुमार शर्मा और उनके अधिनस्थ बोचहां सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी के बीच जोरदार विवाद ठन गयी है। दोनों आपस में आमने - सामने आ गये हैं। दोनों अधिकारी एक दूसरे पर असंसदीय भाषा का उपयोग करने का सीधा आरोप लगा रहे हैं।

सिविल सर्जन विनय कुमार शर्मा ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बोचहां के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ मनीष शंकर चौधरी से 24 घंटे के अंदर स्पष्टीकरण मांगते हुए प्रपत्र के गठन करने की अनुशंसा तक की चेतावनी तक दे डाली है। चिकित्सा प्रभारी ने फोन पर सिविल सर्जन डॉ विनय कुमार शर्मा को ऐसा क्या कह दिया कि वे गुस्से में आ गये और स्पष्टीकरण का लेटर तक निकाल दिया।

सिविल सर्जन डॉक्टर विनय कुमार शर्मा ने बताया कि डॉ मनीष शंकर चौधरी ने मेरे साथ दूरभाष पर असंसदीय भाषा का प्रयोग किया। उनपर सौतेला व्यवहार करने का आरोप भी लगाया । स्वास्थ्य विभाग के दोनों अधिकारियों के बीच 30 नवंबर की शाम 6 :50 बजे फोन पर बातचीत के दौरान यह स्थिति उत्पन्न हुई। जैसा कि सिविल सर्जन ने स्पष्टीकरण पत्र में जिक्र किया है। पत्र के अनुसार जब बोचहां चिकित्सा प्रभारी ने सिविल सर्जन के साथ असंसदीय शब्दों का इस्तेमाल करना शुरू किया तो सिविल सर्जन को फोन काट देना पड़ा। अब सवाल यह भी उठता है कि आखिर किस असंसदीय शब्दों का उपयोग चिकित्सा प्रभारी ने किया कि सिविल सर्जन को फोन तक काटना पड़ गया और आनन- फानन में सिविल सर्जन ने 30 नवंबर को ही चिकित्सा प्रभारी को पत्र लिखकर स्पष्टीकरण की मांग के साथ प्रपत्र क गठन तक की चेतावनी भी दी।

इधर सिविल सर्जन द्वारा स्पष्टीकरण मांगे जाने पर बोचहां सीएचसी के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ मनीष शंकर चौधरी ने कहा कि असंसदीय शब्दों का प्रयोग हमने नहीं सिविल सर्जन ने किया है। चिकित्सा प्रभारी भी स्पष्टीकरण व प्रपत्र के गठन की चेतावनी से झुकने को तैयार नहीं है।चिकित्सा प्रभारी ने कहा कि हमारे पास वेरीफायर नहीं है, डाटा ऑपरेटर भी नहीं है ऐसे में महा अभियान के तहत वैक्सीनेशन का सौ परसेंट डोज पूरा करने का लक्ष्य प्राप्त करने को लेकर उसमें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, हमने सिविल सर्जन से मैनेजर व वेरीफायर की मांग की है, उसी पर भड़के सिविल सर्जन ने स्पष्टीकरण का लेटर निकाल दिया है।

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