काठमांडू : चीन के नेपाल में बढ़ रहे हस्तक्षेप से नेपाल के लोगों का गुस्सा चीन के प्रति भड़क उठा है। चीन के विरोध में गुस्साए लोग सोमवार को काठमांडू में सड़कों पर उतर आये और प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने चीन के विरोध में जमकर नारे लगाए। प्रदर्शनकारियों के हाथों में चीन के खिलाफ बैनर व पोस्टर थे। इन पोस्टरों में नेपाल में चीनी हस्तक्षेप को बंद करने की मांग की गई थी।
चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग के खास दूत गूओ येझोउ काडमांडू में हैं। वह नेपाल की कम्युनिस्ट पार्टी के दोनों विरोधी गुट प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली और पुष्प कमल दहल उर्फ प्रचंड के बीच सुलह करवाने का प्रयास करेंगे।चीनी कम्युनिस्ट पार्टी का शीर्ष दल रविवार को ही काठमांडू पहुंच गया। चीन का मकसद प्रचंड और ओली के बीच सुलह कराकर किसी भी कीमत पर सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी में फूट को रोकना है। सत्तारूढ़ एनसीपी से जुड़े लोगों ने चीन के प्रतिनिधिमंडल के आने की पुष्टि की है। चीन के इस कदम को बीजिंग द्वारा जमीनी स्थिति का आकलन करने का प्रयास माना जा रहा है। एनसीपी के प्रचंड गुट के विदेश मामलों के विभाग के उप प्रमुख विष्णु रिजाल ने कहा कि चीनी पक्ष ने काठमांडू यात्रा के बारे में उनसे बातचीत की है। हालांकि मेरे पास इससे ज्यादा बताने के लिए कुछ नहीं है।